Sāhityālocana ke siddhāntaLakshmīnārāyaṇa Agravāla, 1949 - 302 strani |
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Zadetki 1–3 od 88
Stran 68
Rāmanārāyaṇa Yādavendu. हम कविता में भावनाओं की अभिव्यक्ति पाते हैं । कविता यानी सच्ची कविता ... कवि के समान ही भावना - सागर में आनन्द विभोर हा जाते हैं । यह दृश्य ...
Rāmanārāyaṇa Yādavendu. हम कविता में भावनाओं की अभिव्यक्ति पाते हैं । कविता यानी सच्ची कविता ... कवि के समान ही भावना - सागर में आनन्द विभोर हा जाते हैं । यह दृश्य ...
Stran 80
... कविता और विज्ञान कवि की कविता में जिस अनुभूति को अभिव्यक्ति होती है , उस में विचार , भाव और कल्पना - इन तीनों तत्त्वों का सम्मिश्रण ...
... कविता और विज्ञान कवि की कविता में जिस अनुभूति को अभिव्यक्ति होती है , उस में विचार , भाव और कल्पना - इन तीनों तत्त्वों का सम्मिश्रण ...
Stran 101
... कवि व्यर्थ के शब्दाडम्बर द्वारा अपनी कविता में अस्पष्टता और दुरूइता पैदा करके यह समझते हैं कि अब उनकी कला सफत हो गई । परन्तु ...
... कवि व्यर्थ के शब्दाडम्बर द्वारा अपनी कविता में अस्पष्टता और दुरूइता पैदा करके यह समझते हैं कि अब उनकी कला सफत हो गई । परन्तु ...
Pogosti izrazi in povedi
अथवा अधिक अनेक अपनी अपने अभिव्यक्ति आज आदि इन इस प्रकार इसमें इसी उनकी उनके उपन्यास उपन्यासकार उपन्यासों उस उसका उसकी उसके उसमें उसे एक एवं ऐसे ओर कर करता है करते हैं करना करने कला कला का कलाकार कवि कविता कहानी का कारण काव्य किया है किसी की की रचना कुछ के लिए के साथ केवल को कोई क्या चरित्र चाहिए चित्रण जब जाता है जाती जाय जिस जीवन की जो तक तथा तब तो था दिया दो द्वारा नहीं नहीं है नाटक ने पं० पर परन्तु पात्र पात्रों प्रकृति प्रभाव प्रयोग प्रेम प्रेमचन्द भारत भाव भावना भी मानव यदि यह या रहा रूप में लेखक वह वास्तव में विचार विषय वे श्री संस्कृत सकता सकते सत्य समाज समाजवाद सम्बन्ध साहित्य का साहित्य में सुन्दर सूरदास सृष्टि से सौन्दर्य स्थान स्पष्ट हम हमारे हमें हिन्दी में ही हुआ हृदय है और है कि हैं हो होता है होती